'ये नफरत बुरी चीज है न पालो इसे, दिलों में जो खलिश है मिटा लो इसे, न तेरा न मेरा न इसका न उसका, ये सबका वतन है बचा लो इसे'। मौलाना मशहूदुर्रहमान शाहीन जमाली की चंद लाइनें सब कुछ बयां कर रही हैं। बुधवार को जिमखाना मैदान समीप अपार चेंबर में अयोध्या मामले को लेकर मस्जिदों के इमाम और मदरसा संचालकों के साथ बैठक हुई।
बैठक की अध्यक्षता शहरकाजी जैनुस साजिद्दीन और संचालन मौलाना सलमान कासमी ने किया। अयोध्या मामले को लेकर सुप्रीमकोर्ट के आने वाले फैसले को लेकर उलमाओं ने शांति कायम रखने की अपील की। जबकि मस्जिद के इमाम और संचालकों को युवाओं को मामले में जागरूक करने की जिम्मेदारी सौंपी गई।
मौलाना मशहूदुर्रहमान शाहीन जमाली ने फैसले का सम्मान करने और देश को मजबूत बनाने की अपील की। उन्होंने मौहम्मद साहब का हवाला देकर कहा हमारे नबी को भारत से दीन की सुकून भरी हवा आती थी।
देवबंद दारुल उलूम मुबल्लिग मौलाना सिराज कासमी ने प्रशासन से मुस्लिमों के साथ अन्य धर्मों के धर्मगुरु और जिम्मेदार लोगों के साथ बैठक करने की अपील की। कहा देश का मुसलमान वतन से मुहब्बत करता है, जो कभी देश को नीचे नहीं झुकने देगा।
उर्दू अकादमी सदस्य उप्र कुंवर बासित अली ने कहा दुनिया को कोई धर्म दंगा या फसाद की अनुमति नहीं देता। सभी को अपने-अपने धर्मों का सम्मान करते हुए सुप्रीम कोर्ट के निर्णय को स्वीकार करना है।
इस दौरान कारी अनवार, मौलाना अब्बास, कारी दाऊद, मौलाना असद जिलानी, मुफ्ती शुएब, मौलाना सैफुल्ला, मौलाना शकील, मौलाना फुरकान, कारी नूर मौहम्मद, एडवोकेट इमरान, दानिश खान सहित अन्य लोग मौजूद रहे।
देवबंद दारुल उलूम मुबल्लिग मौलाना सिराज कासमी ने प्रशासन से मुस्लिमों के साथ अन्य धर्मों के धर्मगुरु और जिम्मेदार लोगों के साथ बैठक करने की अपील की। कहा देश का मुसलमान वतन से मुहब्बत करता है, जो कभी देश को नीचे नहीं झुकने देगा।
उर्दू अकादमी सदस्य उप्र कुंवर बासित अली ने कहा दुनिया को कोई धर्म दंगा या फसाद की अनुमति नहीं देता। सभी को अपने-अपने धर्मों का सम्मान करते हुए सुप्रीम कोर्ट के निर्णय को स्वीकार करना है।
इस दौरान कारी अनवार, मौलाना अब्बास, कारी दाऊद, मौलाना असद जिलानी, मुफ्ती शुएब, मौलाना सैफुल्ला, मौलाना शकील, मौलाना फुरकान, कारी नूर मौहम्मद, एडवोकेट इमरान, दानिश खान सहित अन्य लोग मौजूद रहे।